कुख्यात विकास दुबे ने फ़िल्मी अंदाज़ में कानपुर अटैक को दिया अंजाम , पढ़िए कबूलनामा





फ़िल्मी अंदाज़ में कानपुर अटैक को अंजाम दिया कुख्यात विकास दुबे ने,पढ़िए कबूलनामा
विकास दुबे का कबूलनामा

उज्जैन पुलिस के सूत्रों के हवाले से खबर

पूछताछ के दौरान विकास दुबे का कबूलनामा

पुलिस के लोग मेरे संपर्क में थे-विकास दुबे,

एनकाउंटर के डर से पुलिस पर की फायरिंग-विकास दुबे,

हम शव को जलाने के लिए तेल लाए थे-विकास दुबे,

सबूतों को मिटाना चाहते थे-विकास दुबे,

और पुलिस बल ना आता तो जला देता-विकास दुबे,

मैंने सभी साथियों को अलग-अलग भागने को कहा-विकास दुबे,

मैंने अपने साथियों को हथियार के साथ बुलाया था-विकास दुबे,

मैंने 30 लोगों के लिए खाना बनवाया था-विकास दुबे,

मैं मंदिर के परिसर में बैठ कर बहुत रोया हूं-विकास दुबे,

मुझे किए पर अफसोस है मुझे मजबूर किया गया-विकास दुबे,

मुझे गोली चलाने के लिए मजबूर किया गया- विकास दुबे।

विकास दुबे का बडा क़बूलनामा- 

कहा कि घटना के बाद घर के ठीक बग़ल में कुयैं के पास पाँच पुलिसवालों की लाशों को एक के ऊपर एक रखा गया था जिससे उनमें आग लगा कर सबूत नष्ट कर दिये जाये। 
- आग लगाने के लिये घर में गैलनों में तेल रखा गया था। 
- वाले रंग के एक पचास लीटर के गैलन में तेल से जलाने का इरादा था। 
- लेकिन लाशें इकट्टठा करने के बाद उसे मौक़ा नहीं मिला। फिर वो फ़रार हो गया।
- विकास दुबे ने शहीद सीओ देवेंद्र मिश्र के बारे में बताया- 
- देवेंद्र मिश्र से मेरा नहीं बनती थी। कई बार वो मुझसे देख लेने की धमकी दे चुके थे। पहले भी बहस हो चुकी थी। 
- विनय तिवारी ने भी बताया था कि सीओ तुम्हारे ख़िलाफ़ है। 
- लिहाजा मुझे सीओ पर ग़ुस्सा था। 
- सीओ को सामने के मकान में मारा गया था। 
- मैंने नहीं मारा सीओ को। लेकिन मेरे साथ के आदमियों ने दूसरी तरफ़ के आहाते से कूदकर मामा के मकान के आँगन में मारा था। 
- पैर पर भी वार किया था। क्योंकि मुझे पता चला था कि वो बोलता है कि विकास का एक पैर गड़बड़ है। दूसरा भी सही कर दूँगा। सीओ का गला नहीं काटा था, गोली पास से सिर मे मारी गयी थी इसलिये आधा चेहरा फट गया था।

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